मनोरा गांव में बढ़ती चोरी की घटनाओं से आक्रोशित ग्रामीणों का विरोध प्रदर्शन

सिरोही जिले के मनोरा गांव में लगातार हो रही चोरी और लूट की घटनाओं से त्रस्त ग्रामीणों ने शनिवार को पुलिस और प्रशासन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। उन्होंने अहिंसा सर्कल से लेकर जिला कलेक्टर कार्यालय तक पैदल मार्च करते हुए विरोध प्रदर्शन किया और प्रशासन की निष्क्रियता पर तीखा आक्रोश जताया।

इस विरोध प्रदर्शन में सैंकड़ों ग्रामीणों ने भाग लिया। उन्होंने जोरदार नारेबाजी करते हुए पुलिस की लापरवाही और निष्क्रियता पर सवाल उठाए। ग्रामीणों का कहना है कि मनोरा और उसके आसपास के इलाकों में लगातार चोरी की घटनाएं हो रही हैं, लेकिन पुलिस अब तक किसी भी मामले का खुलासा नहीं कर पाई है। ग्रामीण प्रतिनिधि अचलसिंह राजपुरोहित ने बताया कि लोगों में भय का माहौल है और पुलिस सुरक्षा व्यवस्था पूरी तरह चरमरा गई है।

प्रदर्शन के दौरान ग्रामीणों ने तीन मुख्य मांगें रखीं। पहली, सभी चोरी की घटनाओं की शीघ्र जांच कर खुलासा किया जाए। दूसरी, गांवों में रात्री गश्त बढ़ाई जाए और पुलिस की उपस्थिति को मजबूत किया जाए। तीसरी, संबंधित अधिकारियों की जिम्मेदारी तय की जाए ताकि भविष्य में ऐसी लापरवाही न हो।

प्रदर्शनकारियों ने सिरोही के विधायक ओटाराम देवासी पर भी गंभीर आरोप लगाए। उनका कहना है कि विधायक केवल आयोजनों में भाग लेने और फोटो खिंचवाने तक ही सीमित हैं, जबकि जनता असुरक्षित और भयभीत माहौल में जीवन व्यतीत कर रही है। ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि जनप्रतिनिधि जनता की मूलभूत समस्याओं से पूरी तरह बेखबर हैं।

विरोध प्रदर्शन के दौरान जब ग्रामीण जिला मुख्यालय पहुंचे, तो पुलिस द्वारा हल्का बल प्रयोग किया गया, जिससे प्रदर्शनकारियों का आक्रोश और बढ़ गया। उन्होंने इस कार्रवाई को लोकतंत्र की हत्या बताया और कहा कि शांतिपूर्ण प्रदर्शन करना हर नागरिक का संवैधानिक अधिकार है। इस व्यवहार से ग्रामीणों में और असंतोष फैल गया।

अंत में ग्रामीणों ने चेतावनी दी कि यदि प्रशासन ने शीघ्र और ठोस कदम नहीं उठाए, तो आंदोलन को और अधिक उग्र किया जाएगा। उन्होंने साफ कहा कि अब वे चुप नहीं बैठेंगे और अपनी सुरक्षा तथा न्याय के लिए निर्णायक लड़ाई लड़ेंगे।

लाइव विडियो
विज्ञापन
क्रिकेट स्कोर
राशिफल
DELHI Weather
Recent Posts