रैली के माध्यम से विवाद निस्तारण और सामाजिक कुरीतियों पर जागरूकता

मुजफ्फरनगर में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से जागरूकता रैली का आयोजन किया गया। रैली का शुभारंभ प्रभारी मान्य जनपद न्यायाधीश एवं अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण रविकांत तथा अपर जनपद न्यायाधीश/सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण सीताराम ने हरी झंडी दिखाकर किया। इस रैली का मुख्य उद्देश्य आम जनता को अपने विवादों जैसे बैंक विवाद, यातायात विवाद, भूमि विवाद आदि का निस्तारण सरल और सुगम न्याय व्यवस्था के माध्यम से कराने के लिए प्रेरित करना रहा।रैली में जागरूकता फैलाने के लिए मोटरसाइकिल रैली, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता, आशा कार्यकर्ता, पैरा लीगल वॉलंटियर और विभिन्न समाजसेवी संस्थाओं ने सक्रिय रूप से भाग लिया। रैली जिला न्यायालय से शुरू होकर शहर के मुख्य मार्गों से होते हुए पुनः जिला न्यायालय परिसर में आकर समाप्त हुई। पूरे आयोजन के दौरान स्थानीय लोगों को विवादों के त्वरित और सुलभ निपटान के लिए राष्ट्रीय लोक अदालत की भूमिका और उसके महत्व के बारे में जानकारी दी गई।आगामी राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन 13 सितंबर 2025, शनिवार को किया जाएगा। यह कार्यक्रम मुजफ्फरनगर दीवानी न्यायालय परिसर, बाहिया न्यायालय बुढ़ाना, ग्राम न्यायालय जानसठ और ग्राम न्यायालय खतौली में संपन्न होगा। रैली के माध्यम से लोगों को यह संदेश दिया गया कि वे अपने लंबित मामलों और विवादों का निस्तारण लोक अदालत में कराकर समय और धन दोनों की बचत कर सकते हैं।कार्यक्रम में एक्सेस टू जस्टिस संस्था और ग्रामीण समाज विकास केंद्र ने भी विशेष रूप से भागीदारी निभाई। इन संस्थाओं ने समाज में व्याप्त कुरीतियों जैसे बाल विवाह, बाल श्रम और बाल भिक्षावृत्ति के खिलाफ लोगों को जागरूक करने का प्रयास किया। इस दौरान प्रतिभागियों ने नारे लगाकर और संवाद के माध्यम से लोगों को यह समझाने की कोशिश की कि सामाजिक बुराइयों को खत्म करने के लिए सामूहिक प्रयास जरूरी हैं।रैली में परा लीगल वॉलंटियर धनीराम, गौरव मालिक, रजनी पवार, संगीता, बबीता, अमित और सृष्टि सहित अन्य लोगों ने सक्रिय सहयोग दिया। इनके साथ-साथ विभिन्न समाजसेवी संस्थाओं और कार्यकर्ताओं की भागीदारी ने इस रैली को सफल और प्रभावी बनाया।इस अवसर पर वक्ताओं ने कहा कि लोक अदालतें आम जनता को न्याय पाने का सबसे सरल और किफायती माध्यम हैं। यहां न केवल त्वरित निस्तारण होता है, बल्कि आपसी सहमति से विवाद सुलझने पर रिश्तों में भी मधुरता बनी रहती है। इसके साथ ही यह भी संदेश दिया गया कि यदि समाज से बाल विवाह, बाल श्रम और बाल भिक्षावृत्ति जैसी बुराइयों को जड़ से मिटाना है तो सभी वर्गों को मिलकर आगे आना होगा।रैली के दौरान पूरे शहर में न्यायिक जागरूकता और सामाजिक सुधार का संदेश दिया गया। आम नागरिकों ने भी इस अभियान की सराहना करते हुए इसमें रुचि दिखाई। कार्यक्रम के अंत में अधिकारियों और कार्यकर्ताओं ने यह संकल्प लिया कि वे न्यायिक सेवाओं को अधिक से अधिक लोगों तक पहुंचाने और सामाजिक कुरीतियों को खत्म करने के लिए निरंतर प्रयास करते रहेंगे।

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